सीधे मुख्य सामग्री पर जाएं

एससी/एसटी कानून के लिए हेल्पलाइन

प्रभात खबर• पेज 11-13-12

एससी/एसटी कानून के लिए हेल्पलाइन

नयी दिल्ली. अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) कानून 1989 ठीक से 'लागू हो सके, इसके लिए केंद्र सरकार एक हेल्पलाइन शुरू करने जा रही है. 

सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय ने कहा कि अत्याचारों के विरुद्ध राष्ट्रीय हेल्पलाइन (एनएचएए) पूरे देश में टोल-फ्री नंबर 14566 पर चौबीसों घंटे उपलब्ध रहेगी. एनएचएए का मोबाइल ऐप भी उपलब्ध होगा,

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

गोंड जनजाति :- भारतीय आदिवासियों का सबसे बड़ा समुदाय

 1. उत्पत्ति और वितरणः गोंड लोग भारत के सबसे बड़े स्वदेशी समुदायों में से एक हैं। माना जाता है कि उनका एक लंबा इतिहास है और माना जाता है कि वे गोंडवाना क्षेत्र से उत्पन्न हुए हैं, इस तरह उन्हें अपना नाम मिला। वे मुख्य रूप से भारत के मध्य और पश्चिमी हिस्सों में रहते हैं, विशेष रूप से मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र, तेलंगाना, ओडिशा, आंध्र प्रदेश और उत्तर प्रदेश जैसे राज्यों में। 2. भाषाः गोंड लोग मुख्य रूप से गोंडी भाषा बोलते हैं, जो द्रविड़ भाषा परिवार से संबंधित है। हालाँकि, पड़ोसी समुदायों के साथ विभिन्न प्रभावों और बातचीत के कारण, कई गोंड लोग हिंदी, मराठी, तेलुगु आदि क्षेत्रीय भाषाओं में भी धाराप्रवाह हैं। 3. संस्कृति और परंपराएँः कला और शिल्पः गोंड कला गोंड संस्कृति की एक विशिष्ट विशेषता है। इसकी विशेषता जटिल प्रतिरूप, जीवंत रंग और प्रकृति, जानवरों और दैनिक जीवन के चित्रण हैं। इस कला को भारत के भीतर और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर मान्यता मिली है। संगीत और नृत्यः गोंड लोगों में संगीत और नृत्य की समृद्ध परंपरा है। उनके गीत और नृत्य अक्सर प्रकृति, कृषि और अनुष्ठानों के साथ उनके संबं...

कोणार्क मंदिर को गोंड शासकों ने बनवाया

कोणार्क मंदिर को गोंड शासकों ने बनवाया अजय नेताम कोणार्क मंदिर उड़ीसा के प्रवेश द्वार पर हाथी पर सिंह सवार (गजाशोहुम) गोंडवाना का राज चिन्ह है, इस मंदिर को आंध्रप्रदेश विजयनगरम के चार देव गंग वंशी नेताम गोंड राजा नरसिंह देव ने बनवाया है। रावेण (निलकंठ) गणडचिन्ह धारक यदुराय का शासन काल जनरल कनिधाम के अनुसार 382 ई., वार्ड के अनुसार 158 ई. स्लीमेन के अनुसार 358 ई. और रूपनाथ ओझा के अनुसार 158 ई. है। एकलौते इतिहासकार जिन्होंने सिंधु यदुराय बाहर पहरा दे रहे थे, उसी लिपी (सिंधु सभ्यता) को गोंडी में पढ़ समय उनके सामने से हाथियों का झुंड के बताया और बाद में उसपर एक भागते हुए निकला, झुंड के सबसे किताब सिंधु लिपी का गोंडी में आखिरी हाथी में एक सिंह सवार था उद्घाचन भी निकाला) के अनुसार जो उसका शिकार कर रहा था। गोंडी इतिहासकार डॉ मोतीरावण कंगाली (दुनिया के पहले और शायद यदुराय पहले राजा रतनसेन कछुआ यदुराय जीववादी, प्रकृतिवादी और गणड़चिनह धारक के यहां नौकरी बहुत ही बुद्धिमान सैनिक था जब यदुराय करता था, एक बार राजा रतनसेन ने ई. सं. 358 में राज्य सत्ता संभाली शिकार करने जंगल गये तो रात होने त...

एक कदम शिक्षा की ओर मिशन में दे सभी सहयोग

एक कदम शिक्षा की ओर मिशन में दे सभी सहयोग Tribes TV बैतूल, संसार के प्रसिद्ध व्यक्तियों ने अपने प्रेरणादायी कार्यों से लोगों के सोचने के नजरिए को न सिर्फ बदला है, बल्कि समाज को एक नई दिशा भी दी है। इसी दिशा में आठनेर क्षेत्र के शिक्षक लक्ष्मण अहाके से गांव में शिक्षा के स्तर को बेहतर करने लिए एक कदम शिक्षा की ओर के नाम से शुरूआत की है। गांव के प्रत्येक व्यक्ति के द्वारा गांव के बच्चों को प्रतिदिन 1 घंटे का समय निकाल कर पढ़ाया जाता हैं। नसके सकारात्मक परिणाम देखने को मिल रहे है। समस्त ग्राम वासियों के द्वारा शिक्षा के लिए करियर मार्गदर्शन का कार्यक्रम आयोजित किया गया। इस मौके पर डॉ. राजा धुर्वे ने कहा कि यदि कोई भी व्यक्ति एक लक्ष्य बना कर मेहनत करता है तो उन्हें सफलता जल्दी मिल जाती हैं। यदि आपसे पूछा जाए की आपने अपने लिए कोई लक्ष्य निर्धारित कर रखे हैं तो आपके सिर्फ दो जवाब हो सकते हैं हा या नहीं। अगर आपका जवाब हा है तो यह तो बहुत अच्छी बात है, क्योंकि अधिकतर लोग तो बिना किसी लक्ष्य के अपनी जिंदगी बिता रहे हैं और आप बेहतर स्थिति में है। पर यदि आपका उत्तर नहीं है. तो भी चिंता की बात नह...